फीस बढ़ोतरी के विरोध में हिंदी विश्वविद्यालय के छात्रों द्वारा कुलपति कार्यालय के बाहर विरोध जारी है....प्रशासन ने अभी तक हमारी मांगों को स्वीकार नहीं किया है..आप सभी मित्रों से निवेदन है कि हमारा साथ दें
फीस बढ़ोतरी के विरोध में हिंदी विश्वविद्यालय के छात्रों द्वारा कुलपति कार्यालय के बाहर विरोध जारी है....प्रशासन ने अभी तक हमारी मांगों को स्वीकार नहीं किया है..आप सभी मित्रों से निवेदन है कि हमारा साथ दें ..
गौरतलब है कि महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा को नैक की टीम ने 'ए' ग्रेड दिया है। यूनिवर्सिटी पीजी और रिसर्च कोर्सेस के अलावा जल्द ही ग्रैजुएशन लेवल पर भी कुछ पाठ्यक्रम शुरू करने के प्रयास में है।
गौरतलब है कि महात्मा गांधी ने कहा था 'राष्ट्रभाषा के बिना कोई भी राष्ट्र गूंगा हो जाता है'। भारत की संसद द्वारा एक अधिनियम पारित करके महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय की स्थापना राष्ट्रपिता की कर्मभूमि वर्धा में की गई।
Fee Hacking Down Down..............................Student Struggle Long Live
किसी भी शिक्षण संस्थान के फीस बढ़ोतरी को मामले को आलू-प्याज़ के दाम की बढ़ोतरी तथा बढ़ते हुए महँगाई से जोड़ कर नहीं देखा जा सकता है। यह एक जाति-वर्ग के शिक्षा के अधिकारों तथा उनके उत्थान से जुड़ा मामला होता है।
** हमें सोचना होगा, कि कहीं सरकार फीस बढ़ोतरी कर शिक्षा को प्राइवेटाइज़ करने की तरफ कदम बढ़ते हुए इसे कॉर्पोरेट के हाथों बेचने की साजिश तो नहीं कर रहा है?
** हमें सोचना होगा, कि कहीं फीस बढ़ा कर सरकार किसी खास जाति-वर्ग के लोगों को शिक्षा से दूर तो नहीं रखना चाहता?
** हमें सोचना होगा, कि क्यों रक्षा सहित कई सारे बजट बढ़ाए जा रहे हैं तथा शिक्षा के सारे बजटों में कटौती की जा रही है?
** हमें सोचना होगा, कि क्यों सरकार हमें सिर्फ साक्षर बनाना चाहती है शिक्षित नहीं?
आज जब देश भर में छात्र, मजदूर, किसान, दलित, आदिवासी तथा महिलाओं पर सत्ता का दमन तेज हो रहा तथा उन्हे उनके अधिकारों से वंचित रखने की साजिश रची जा रही है, उसी कड़ी में ही महात्मा गाँधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय (वर्धा) का यह फैसला आया है जिसमें नए सत्र के सभी कोर्स के फीस लगभग 200-400% बढ़ा दिये गए हैं।
लेकिन तमाम दमन-शोषण के विरुद्ध जिस तरह दुनिया भर के लोग गोलबंद हो कर लड़ रहे हैं ठीक उसी प्रकार Mgahv के छात्र भी संघर्ष कर रहें हैं। आज उन्होने विश्वविद्यालय के कुलपति कार्यालय के सामने धरना दिया। उनकी मांग है कि "बिना देर किए तथा बिना किसी शर्त के तत्काल फीस बढ़ोतरी के फैसले को वापस लिया जाए"।
साथियों इस संघर्ष में हम आपके साथ हैं तथा विश्वविद्यालय प्रशासन के इस कदम की निंदा करते हैं। मुझे विश्वास है जीत हमारी होगी। परंतु हमें अपने आँख-कान खुले रखने होंगे तथा देश-दुनिया भर के तमाम तरह के दमन-शोषण के खिलाफ गोलबंद होने की आदत डालनी पड़ेगी क्योंकि दुनिया के हर एक शोषण के तार आपस में जुड़े होते हैं।
— with अंबेडकर स्टूडेंट्स फोरम
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महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा. Mahatma Gandhi Antarrashtriya Hindi VishwaVidyalaya,Wardha. हिंदी समय · मीडिया समय · हिंदी प्रेमी ब्लॉग ... विश्वविद्यालय में संचालित एम.फिल.पाठ्यक्रम (सत्र 2014-15) के शोधार्थियों के ... महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा ... विश्वविद्यालय को नैक(NAAC) द्वारा ''A'' ग्रेड से नवाजा गया ... महात्मा गांधी फ्यूजी गुरुजी शांति अध्ययन केंद्र द्वारा समकालीन विचारधारा पर आयोजित होने वाली दो सप्ताह की ... महात्मा गांधी ने कहा था 'राष्ट्रभाषा के बिना कोई भी राष्ट्र गूंगा हो जाता है'। भारत की संसद द्वारा एक अधिनियम पारित करके महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय की स्थापना राष्ट्रपिता की कर्मभूमि वर्धा में की गई। 10/03/2015 - एजुकेशन डेस्क। महात्मा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा को नैक की टीम ने 'ए' ग्रेड दिया है। यूनिवर्सिटी पीजी और रिसर्च कोर्सेस के अलावा जल्द ही ग्रैजुएशन लेवल पर भी कुछ पाठ्यक्रम शुरू करने के प्रयास में है। प्रो. देवराज महात्मा गांधी इंटरनैशनल हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा एवं विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, नई दिल्ली के संयुक्त तत्वावधान में मुंबई विश्वविद्यालय के मराठी भाषा भवन में आयोजित समारोह में बोल रहे थे। इस दौरान उन्होंने चॉइस बेस्ड ... वर्धा संवाददाता ♢ >कुलदीप नैयर, रजी अहमद आदि की उपस्थिति में राय ने अपनी छद्म प्रतिबद्धता का नया स्वांग रचा। हम सब ... इलाहाबाद डेस्क ♢ 26 नवंबर यानी कल इलाहाबाद में महात्मा गांधीअंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय का क्षेत्रीय विस्तार ... 13/04/2015 - यह बातें विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) के उपाध्यक्ष प्रो. देवराज ने व्यक्त की। प्रो. देवराज महात्मा गांधी इंटरनैशनल हिंदी विश्वविद्यालय, वर्धा एवं विश्वविद्यालय अनुदान आयोग, नई दिल्ली के संयुक्त तत्वावधान में मुंबई ... दिनांक 19 मार्च को श्री विभूति नारायण राय, कुलपति, महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय वर्धा12 बजे स्विटज़रलैंड स्थित लुसान विश्वविद्यालय आए। दक्षिण एशियाई अध्ययन विभाग में आकर श्री राय ने विद्यार्थियों के साथ ... आप महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिन्दी विश्वविद्यालय की वेबसाइट www.hindivishwa.org पर जाकर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। .... स्थापित महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय (केंद्रीय विश्वविद्यालय), वर्धा के दूर शिक्षा निदेशालय ... 28/01/2014 - महात्मा गांधी के सपने को साकार करने के मकसद से वर्धा में स्थापित हिंदी विश्वविद्यालय को 16 साल बाद भी उचित मुकाम की तलाश है. इसके पास उपलब्धियों के नाम पर तो कुछ खास गिनाने को नहीं, लेकिन इसके उलट विवादों की फेहरिस्त ...
नवभारत टाइम्स - Apr 15, 2015
संस्था सोशल जूरिस्ट के मेंबर एडवोकेट खगेश झा का कहना है कि स्कूल वाले अपनी मर्जी से फीस में बढ़ोतरी कर देते हैं और सरकार सब जानते हुए भी चुप बैठी रहती है। पैरंट्स-टीचर्स असोसिएशन की मंजूरी जरूरी होती है, लेकिन इस सवाल पर भी स्कूल अपनी मर्जी चलाते हैं। उनका कहना है कि एक ही स्कूल में दो-दो फीस स्ट्रक्चर भी देखने को मिलते हैं। फीस बढ़ोतरी के मुद्दे पर हाई कोर्ट की एक कमिटी ने करीब 600 स्कूलों के खातों की जांच की थी औऱ उसके बाद करीब 250 स्कूलों को बढ़ी फीस वापस करने के आदेश भी दिए गए थे, लेकिन कुछ ही स्कूलों ने फीस लौटाई है और ज्यादातर स्कूल इस आदेश को नहीं मान रहे हैं।
दैनिक जागरण - Apr 16, 2015
गुरुवार को अभिभावकों ने विद्यालय की प्रधानाचार्य निति सिंधवाल से मिलकर फीस बढ़ोतरी वापस लेने की मांग उठाते हुए विरोध किया। अभिभावक संजीव सैनी ने कहा कि विद्यालय वार्षिक फंड लेने बंद करे। फीस वृद्धि व अन्य वित्तीय संबंधित निर्णय से पूर्व अभिभावकों को विश्वास में लेकर उनके सुझाव भी ले। पंचम नेगी, पुष्कर सिंह नेगी, योगेश राघव ने फीस बढ़ोत्तरी वापस लेने, स्पोर्ट्स, खेलकूद व सांस्कृतिक कार्यक्रमों में सभी दलों की सहभागिता की मांग भी उठाई। वहीं, प्रबंधक तंत्र से कई मामलों में लिखित आश्वासन के बाद अभिभावकों का गुस्सा शांत हुआ। इस दौरान मनवर नेगी, मगन सिंह, ...
दैनिक जागरण - Apr 18, 2015
स्कूल फीस में बढ़ोतरी के विरोध में शनिवार को गो¨बदगढ़ पब्लिक स्कूल (जीपीएस) के बाहर पंजाब पेरेंट्स एसोसिएशन की अगुआई में एकत्र हुए अभिभावकों ने 3 घंटे तक जबरदस्त रोष प्रदर्शन किया। इस मौके पर अभिभावकों के समर्थन में आए विश्वास एक उम्मीद संस्था के प्रधान र¨वदर ¨सह पदम, सचिव सुखदीप ¨सह राजा, कोषाध्यक्ष रत्न चंद और सदस्य दीपक घई व जतिन सूद आदि ने कहा कि स्कूल द्वारा वार्षिक चार्जिस, मिस्लेनियस चार्जिस 15 से 20 फीसद हर वर्ष बढ़ा दिया जाता है और अब यह बढ़कर 4000 रूपये करीब जा पहुंचा है। उन्होंने आरोप लगाया कि जीपीएस मैनेजमेंट द्वारा की गई वृदि दूसरे स्कूलों के मुकाबले ...
नवभारत टाइम्स - Apr 16, 2015
स्कूलों में मनमानी फीस बढ़ोतरी को लेकर पैरंट्स और स्कूल मैनेजमेंट के बीच चल रहे तनाव को दूर करने के लिए जिला प्रशासन ने बुधवार को बैठक बुलाई जिसका कोई नतीजा नहीं निकला। बैठक के दौरान दोनों पक्ष एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाते रहे। बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने दोनों पक्षों को नियम का पालन करने की चेतावनी भी दी। साथ ही स्कूलों की लीज डीड व एनओसी की शर्तों की जांच कराने के निर्देश दिए। सोमवार को पैरंट्स ने प्रमुख सचिव गृह देवाशीष पंडा की कार के आगे लेटकर प्रदर्शन किया था। फीस वृद्धि के विरोध में पैरंट्स ने 18 अप्रैल को कलक्ट्रेट पर विशाल धरना प्रदर्शन की चेतावनी ...
News18 Hindi - Apr 18, 2015
#बुलंदशहर #उत्तर प्रदेश प्राइवेट स्कूलों द्धारा मनमानी करते हुए फीस वृद्धि किए जाने के विरोध में शनिवार को गाजियाबाद में अभिभावकों ने जमकर प्रदर्शन किया. प्रदर्शन के दौरान अभिभावकों ने काले कपड़े और हाथ पर काली पट्टी भी बांध रखी थी. इस विरोध के दौरान प्राइवेट स्कूल के प्रबंधन के खिलाफ विरोध जताया गया. अभिभावकों का आरोप है कि हर साल स्कूल मनमाने तौर पर फीस मे 30 से 40 फीसदी तक की बढ़ोतरी की है, जिसकी अदायगी कर पाना मुश्किल होता है. अभिभावकों ने साफ किया है कि अगर उनकी मांगें नहीं मानी जाती तो वो 25 अप्रैल को दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना प्रदर्शन भी करेंगे.
दैनिक जागरण - Apr 19, 2015
अप्रैल के प्रथम सप्ताह से सभी निजी स्कूलों में दाखिले शुरू हो चुके हैं। इसके साथ ही विभिन्न स्कूलों ने फीस बढ़ोतरी भी की है। ऐसे में अभिभावक एकता मंच और विभिन्न स्कूलों के अभिभावकों ने भी फीस वृद्धि का विरोध शुरू कर दिया है। आए दिन कहीं न कहीं धरने-प्रदर्शन हो रहे हैं। यही नहीं शिक्षा के अधिकार कानून के तहत धारा 134 ए को लागू कराने के लिए भी शासन-प्रशासन के प्रयासों के सामने निजी स्कूल अपने तर्क दे रहे हैं। इस साल फीस वृद्धि के क्या कारण हैं और धारा 134 ए को लागू करने में निजी स्कूलों के समक्ष क्या समस्याएं हैं, निजी स्कूल सरकार द्वारा तय फार्म-6 पर अपनी आय व व्यय ...
दैनिक जागरण - Apr 17, 2015
अभिभावक इस बात पर अड़े रहे कि फीस बढ़ोत्तरी वापस नहीं हुई और इस पर रोक नहीं लगी तो विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा। वहीं स्कूल प्रबंधक इस बात पर अड़े हैं कि उच्च न्यायालय से फीस वृद्धि पर रोक नहीं लगाई गई है इसलिए वह फीस वृद्धि करेंगे। जिलाधिकारी विमल कुमार शर्मा ने दोनों पक्षों को पैरेंट्स टीचर एसोसिएशन की बैठक में विवाद सुलझाने का निर्देश दिया। फीस बढ़ोतरी का मामला इलाहाबाद उच्च न्यायालय में विचाराधीन है। इसके बावजूद मनमानी फीस बढ़ाई जा रही है। शिक्षा के नाम पर चंद लोगों द्वारा लूट खसोट की जा रही है। पहली, दूसरी कक्षा की फीस भरने में ही अभिभावकों की कमर टूट रही है।
प्रभात खबर - Apr 17, 2015
डीसी ने प्राइवेट स्कूल प्रबंधन को निर्देश दिया कि वे किसी भी सूरत में मासिक शुल्क में 15 फीसदी से ज्यादा बढ़ोतरी नहीं करें. देवघर के चार-पांच स्कूलों के संबंध में अभिभावक की शिकायत मिली है कि वे टय़ूशन फीस में करीब 20 फीसदी का वृद्धि कर दिये हैं. इसलिए चेतावनी दी गयी है कि वो वृद्धि किये गये शुल्क में संशोधन कर लें, नहीं तो एक्ट के तहत कार्रवाई की जायेगी. वहीं आरटीइ एक्ट के तहत प्राइवेट स्कूलों में इंट्री लेवल की कक्षा में 25 फीसदी सीटों पर बीपीएल कोटि के बच्चों का दाखिला सुनिश्चित कराने का निर्देश दिया गया है. 21 अप्रैल तक वीकर सेक्शन के बच्चों का दाखिला के ...
नवभारत टाइम्स - Apr 15, 2015
अब स्कूल एक मान्यता पर अपने कई ब्रांच नहीं खोल सकते हैं। अगर वे ऐसा करते हैं, तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। डीआईओएस कार्यालय ऐसे स्कूलों की सूची तैयार कर रहा है। इसके बाद उन्हें पहले नोटिस जारी किए जाएंगे। सिटी में इन दिनों स्कूलों में फीस बढ़ोतरी का मामला छाया हुआ है। पैरंट्स ने इसके खिलाफ मोर्चा भी खोल रखा है। उनका आरोप है कि सिर्फ फीस ही नहीं, स्कूल प्रबंधक मनमाने तरीके से अन्य मदों में भी वृद्धि कर रहे हैं। पैरंट्स ने कई स्कूलों पर एक ही मान्यता पर कई-कई ब्रांच चलाने का आरोप भी लगाया है। पैरंट्स की शिकायत के बाद डीआईओएस कार्यालय ने ऐसे स्कूलों की ...
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