Total Pageviews

THE HIMALAYAN DISASTER: TRANSNATIONAL DISASTER MANAGEMENT MECHANISM A MUST

We talked with Palash Biswas, an editor for Indian Express in Kolkata today also. He urged that there must a transnational disaster management mechanism to avert such scale disaster in the Himalayas. http://youtu.be/7IzWUpRECJM

THE HIMALAYAN TALK: PALASH BISWAS TALKS AGAINST CASTEIST HEGEMONY IN SOUTH ASIA

THE HIMALAYAN TALK: PALASH BISWAS TALKS AGAINST CASTEIST HEGEMONY IN SOUTH ASIA

Twitter

Follow palashbiswaskl on Twitter

Sunday, November 24, 2013

देश विदेश में अपनी स्वच्छ बेदाग छवि को बचाने के लिए दीदी को कोई न कोई पहल करनी होगी क्योंकि बागी तृणमूल सांसद कुणाल घोष ने सीधे तौर पर शारदा फर्जीवाड़े मामले में उन्हें कटघरे में खड़ा कर दिया গ্রেফতারের পর ফেসবুকে কুণাল বোমা, নিজের পেজে অভিযোগ আনলেন চক্রান্তের, জানালেন সারদা কাণ্ডে তদন্তে সাহায্য করতে পারেন মমতা ব্যানার্জি সহ আরও ১২জন

देश विदेश में अपनी स्वच्छ बेदाग छवि को बचाने के लिए दीदी को कोई न कोई पहल करनी होगी क्योंकि बागी तृणमूल सांसद कुणाल घोष ने सीधे तौर पर शारदा फर्जीवाड़े मामले में उन्हें कटघरे में खड़ा कर दिया

গ্রেফতারের পর ফেসবুকে কুণাল বোমা, নিজের পেজে অভিযোগ আনলেন চক্রান্তের, জানালেন সারদা কাণ্ডে তদন্তে সাহায্য করতে পারেন মমতা ব্যানার্জি সহ আরও ১২জন


एक्सकैलिबर स्टीवेंस विश्वास


अब देश विदेश में अपनी स्वच्छ बेदाग छवि को बचाने के लिए दीदी को कोई न कोई पहल करनी होगी क्योंकि बागी तृणमूल सांसद कुणाल घोष ने सीधे तौर पर शारदा फर्जीवाड़े मामले में उन्हें कटघरे में खड़ा कर दिया है। जनमत उनके साथ है और सरकार भी उनकी है।दागियों के बचाव में अब तक उन्होंने जो आक्रामक बचाव की रणनीति अपनायी हुई है,वह अब पलटवार करने लगी है।दागी अब उन्हें ही कटघरे में खड़ा करने लगे हैं।बहुत देरी होने से पहले मुख्यमंत्री को कुछ न कुछ करना होगा।बागी सांसद की गिरफ्तारी से यह मामला अब रफा दफा नहीं होने वाला है और न मुआवजे से बात बनने वाली है।लोकसभा चुनाव से पहले यह भारी राजनीतिक बवंडर है,जिसका उन्हें बहादुरी से सामना करना है।दागियों का बचाव करने से पहले बेहद जरुरी है कि वे कानून को अपना काम करने दें। फिर अपनी साफ छवि बनाये रखने की गरज से अब उन्हें सीबीआई जांच का आदेश दे ही देना चाहिए जबकि उनकी साख दांव पर है। बतौर विपक्षी नेता उन्होंने वाम शासन के दौरान बार बार असंख्य बार विभिन्न मामलों में सीबीआई जांच की मांग की हुई है। वे बेदाग हैं और उन्हें सीबीआई जांच से डर नहीं है,बहुत देरी हो जाने से पहले उन्हें यह साबित करना होगा।इतिमध्ये पश्चिम बंगाल में मुख्य विपक्षी दल मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने शारदा चिट फंड घोटाला मामले में निलंबित तृणमूल कांग्रेस सांसद कुणाल घोष की गिरफ्तारी के समय पर सवाल खड़े किए हैं कि शारदा घोटाले में मुख्यमंत्री के नाम का खुलासा करते ही राज्यसरकार ने सत्तादल के ही एकसांसद को सींखचों के पीछे भेज दिया। इस बयान का राजनीतिक तात्पर्य की अनदेखी करना दीदी के लिए अदूरभविष्य में मंहगा साबित हो सकता है।


पत्रकारिता से राजनीति में आए कुणाल शारादा मीडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी थे, और उन्हें शारदा मीडिया समूह की ही कंपनी 'ब्रॉडकास्ट वर्ल्डवाइड' के महाप्रबंधक द्वारा दर्ज कराए गए एक प्रकरण में गिरफ्तार किया गया।बागी सांसद ने गिरफ्तारी के बाद फेसबुक पर  खुलासा किया है कि शारदा फर्जीवाड़े मामले में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से खास जानकारी मिल सकती है। पुलिस हिरासत में रहस्यजनक तरीके से मोबाइल से इस पोस्ट को लगाते हुए पुलिस पूछताछ के लिए उन्होंने बाकायदा एक लिस्ट जारी कर दी है,जिसमें मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के अलावा सांसद मुकुल राय,सांसद सृंजय बोस,मंत्री मदनमित्र, सांसद शुभेंदु अधिकारी से लेकर विधाननगर की चेयरमैन तक को लपेटा है। गिरफ्तारी ले पहले कल ही शारदा घोटाले में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को ही कटघरे में खड़ा कर दिया था तृणमूल के बागी सांसद शारदा मीडिया समूह के पूर्व सीईओ कुणाल घोष ने ,जिन्होंने साफ साफ शब्दों में कहा कि ममता बनर्जी ने सियासी फायदे के लिए शारदा मीडिया समूह का भरपूर इतस्तेमाल किया और केंद्र सरकार व केंद्रीय एजंसियों की एक के बाद एक चेतावनियों को नजरअंदाज करके शारदा समूह समेत तमाम चिटफंड कंपनियों के गैरकानूनी गोरखधंधे को जारी रहने दिया और उनको अपना राजनीतिक औजार बना लिया।कुणाल के मुताबिक ममता बनर्जी को भारत की प्रधानमंत्री बनाने के लिए ही शारदा मीडिया समूह का निर्माम सुदीप्तो सेनगुरप्त की अगुवाई में किया गया।इस मामले में उनके खास सलाहकार मुकुल राय रहे हैं।


शारदा चिटफंड घोटाले में हुई अपनी गिरफ्तारी को ''साजिश'' करार देते हुए तृणमूल कांग्रेस के निलंबित सांसद कुणाल घोष ने कहा है कि पुलिस को मामले में सच का पता लगाने के लिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और उनकी पार्टी के दो नेताओं की मदद लेनी चाहिए।

घोष ने ममता के अलावा 11 दूसरे लोगों से मदद लेने के लिए कहा। इनमें तृणमूल के महासचिव मुकुल रॉय, खेलमंत्री मदन मित्र और पार्टी के सांसद शुभेंदु अधिकारी के नाम शामिल हैं। घोष ने फेसबुक पर डाले गए अपने एक पोस्ट में कहा, ''जांच में उन लोगों की मदद ली जानी चाहिए जो सेन (सारदा समूह के मालिक सुदीप्त सेन) को जानते हैं और जिन्होंने सारदा समूह से प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष मदद ली थी या दूसरे तरह से कुछ बातें जानते हैं।'' उन्होंने साथ ही कहा कि वह किसी के उपर कोई आरोप नहीं लगा रहे।खुद को एक ''गहरी साजिश'' का शिकार बताते हुए सांसद ने कहा कि उन्हें गलत तरीके से गिरफ्तार किया गया।उधर वाम मोर्चा अध्यक्ष बिमान बोस ने शारदा चिटफंड घोटाले में सीबीआई जांच की मांग की और दावा किया कि इस सिलसिले में उसके अध्यक्ष सुदीप्तो सेन के अतिरिक्त कई अन्य लोगों के नाम आए हैं। बोस ने कहा, 'जो नाम सामने आ रहे हैं और राज्यसभा सदस्य कुणाल घोष जो कह रहे हैं-इन सबकी जांच की जानी चाहिए।' उन्होंने कहा, 'हम चाहते हैं कि सीबीआई को तत्काल जांच की जिम्मेदारी सौंपी जाए। घोष अवश्य कठपुतली रहे हैं लेकिन जो इसमें मददगार रहे हैं उनकी जांच की जानी चाहिए। रहस्य का खुलासा हो रहा है।'


तृणमूल कांग्रेस के सांसद कुणाल घोष की गिरफ्तारी के ठीक पहले नवान्न भवन में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के नेतृत्व में उच्चस्तरीय बैठक हुई। इसमें सांसद मुकुल राय व खाद्य मंत्री ज्योति प्रिय मल्लिक भी उपस्थित थे। गौरतलब है कि कुणाल घोष ने सारधा चिटफंड के घोटाले में प्रत्यक्ष रूप से तृणमूल के ही सांसद मुकुल राय व परिवहन मंत्री मदन मित्र पर रुपये वसूलने का आरोप लगाया है।


शुक्रवार को कुणाल ने इस मामले में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी का नाम भी जोड़ दिया था। इसके बाद से ही उनकी गिरफ्तारी की अटकलें तेज हो गयी थीं। शुक्रवार को विधाननगर पुलिस आयुक्त राजीव कुमार ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी व मुख्य सचिव संजय मित्र के साथ मुलाकात की थ।. कुणाल घोष का हमेशा से ही आरोप रहा है कि तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव मुकुल राय के इशारे पर विधाननगर पुलिस कार्य कर रही है और इस मामले में सही दिशा की ओर जांच नहीं हो रही है।


इसके बाद आज सुबह से ही नवान्न भवन में सरगरमी तेज रही। इधर, विधाननगर में कुणाल घोष से पूछताछ हो रही थी और दूसरी ओर, नवान्न भवन में मुख्यमंत्री के कार्यालय में मुकुल राय व ज्योति प्रिय मल्लिक बैठक कर रहे थे। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, नवान्न भवन से मिले निर्देश के बाद ही सांसद कुणाल घोष की गिरफ्तारी हुई है। हालांकि इस संबंध में राज्य सरकार के गृह विभाग के वरिष्ठ अधिकारी व मंत्री ने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया।


शारदा समूह चिटफंड घोटाले में गिरफ्तार तृणमूल कांग्रेस के निलंबित सांसद कुणाल घोष को रविवार को कड़ी सुरक्षा के बीच पश्चिम बंगाल की एक अदालत में पेश किया गया। शारदा समूह के मीडिया व्यवसाय के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (सीईओ) घोष को शनिवार रात को गिरफ्तार किया गया था। उनके ऊपर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 420 (धोखाधड़ी), 406 (विश्वास का आपराधिक भंग) और 120बी (षड्यंत्र) का मामला दर्ज किया गया है। राज्य पुलिस सुबह को घोष के शहर स्थित आवास की तलाशी ली।उनकी गिरफ्तारी के बाद पुलिस ने कहा कि उसके पास इस बात के पर्याप्त साक्ष्य हैं कि 'घोष ने सुदीप्तो सेन (शारदा समूह के प्रमोटर और घोटाले के प्रमुख आरोपी) के अधिकांश गलत कार्यों में बराबर की भूमिका निभाई थी।'


वहीं शुक्रवार को कुणाल घोष ने पार्टी नेतृत्व के एक हिस्से पर चिटफंड घोटाले में उन्हें बलि का बकरा बनाने का आरोप लगाया था। उन्होंने दावा किया था कि वह पुलिस को उन नेताओं के नामों का खुलासा करेंगे। शारदा समूह ने अपनी विभिन्न चिटफंड योजनाओं के जरिए कथित तौर पर लोगों से 2300 करोड़ रूपये की ठगी की थी। इसके खिलाफ अप्रैल में कार्रवाई की गई थी। घोष शारदा ग्रुप की मीडिया शाखा के प्रमुख थे।शारदा समूह के कई समाचार पत्र और टेलीविजन समाचार चैनल थे।


उधर वाम मोर्चा अध्यक्ष बिमान बोस ने शनिवार को शारदा चिटफंड घोटाले में सीबीआई जांच की मांग की और दावा किया कि इस सिलसिले में उसके अध्यक्ष सुदीप्तो सेन के अतिरिक्त कई अन्य लोगों के नाम आए हैं। बोस ने यहां संवाददाताओं से कहा, 'जो नाम सामने आ रहे हैं और राज्यसभा सदस्य कुणाल घोष जो कह रहे हैं-इन सबकी जांच की जानी चाहिए।' उन्होंने कहा, 'हम चाहते हैं कि सीबीआई को तत्काल जांच की जिम्मेदारी सौंपी जाए। घोष अवश्य कठपुतली रहे हैं लेकिन जो इसमें मददगार रहे हैं उनकी जांच की जानी चाहिए। रहस्य का खुलासा हो रहा है।'



कुणाल ने खुलासा किया है कि सुदीप्तो का सीबीआई को पत्र लिखकर अंतर्ध्यान,उनका प्रकट होना और घोटाले की पूरी रकम गायब करके ठीकरा अपने घनिष्ठ सहयोगी (कुणाल घोष) पर डालने का सारा खेल दीदी की जानकारी में रचा गया है।


इस सिलसिले में खास बात तो यह है कि कुणाल ने सिंगुर नंदीग्राम आंदोलन में मीडिया समूहों और चिटफंड कंपनियों का कच्चा चिट्ठाखोल दिया है।कुणाल के मुताबिक खुद फंसे होने के कारण ही मुख्यमंत्री इस मामले को मुआवजा देकर रफा दफा कराने के फेर में हैं और किसीकीमत पर सीबीआई जांच कराने को तैयार नहीं है। कुणाल ने फिर सीबीआई जांच कराने की मांग कर दी है।अप्रैल में इस घोटाले का सामने आने के बाद शारदा ग्रुप के मालिक सुदीप्तो सेन ने सीबीआई को लिखे पत्र में कुणाल घोष पर उनके साथ धोखाधड़ी करने और जबरन शारदा ग्रुप के एक बांग्ला चैनल को बहुत ही कम दाम पर अपने नाम करवा लेने का आरोप लगाया था।हालांकि कुणाल घोष लगातार इन आरोपों से इंकार करते रहे लेकिन उनकी ही पार्टी के लोगों द्वारा इस घोटाले में उनकी भूमिका पर सवाल उठाए जाने के बाद उन्हें कोलकाता पुलिस ने कई बार सुनवाई के लिए बुलाया था। आखिरकार उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया।


शारदा फर्जीवाड़े मामले में अपने आक्रामक बचाव के तहत बागी तृणमूल सांसद ने शनिवार को विधाननगर दक्षिण थाने में खुफिया प्रधान अर्णव घोष के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराया है। कुणाल के मुताबिक अर्णव ने उन्हें गिरफ्तारी कीधमकी दी है।शारदा मीडिया समूह से बाहर शारदा समूह की रकम कहां है,इसकी जानकारी हासिल करने के लिए कुणाल कोगिर्फ्तारी की धमकी दी गयी,ऐसा उनका आरोप है।इसी के तुरंत बाद देर तक थाने में बैठाये रखने का बाद  सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के निलंबित चल रहे सांसद कुणाल घोष को शारदा चिट फंड घोटाला मामले में गिरफ्तार कर लिया गया। इस बाबत कुमाल के एफआईआर में अभियुक्त बिधाननगर के उपायुक्त (गुप्तचर विभाग) अर्नब घोष ने बताया कि कुणाल घोष को आज (शनिवार) गिरफ्तार कर लिया गया। वह अब हमारी हिरासत में हैं। अर्नब ने आगे बताया कि अब तक हुए जांच में हमें इस बात के सबूत मिले हैं कि वह शारदा समूह के अध्यक्ष सुदिप्ता सेन एवं अन्य लोगों के साथ साजिश रचने वालों में शामिल थे।



इससे पहले  शारदा घोटाले में जल्द ही गिरफ्तारी होने की आशंका जताते हुए तृणमूल कांग्रेस से निलंबित सांसद कुणाल घोष ने कहा कि वह पुलिस के सामने पार्टी नेताओं के नाम का खुलासा करेंगे। घोष ने पार्टी के कुछ नेताओं पर उन्हें बलि का बकरा बनाने का आरोप लगाया। घोष ने कहा कि वह अभी तक पार्टी के प्रति वफादार हैं और वह न तो पार्टी के अनुशासन से परे गए हैं और न ही वह किसी पार्टी विरोधी गतिविधि में शामिल थे। उन्होंने घोषणा की कि वह तृणमूल कांग्रेस के नेताओं के नाम पुलिस एवं मीडिया को देंगे।


राज्यसभा सदस्य ने कहा कि वह उनसे पूछताछ से पहले प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर घोटाले की फौरन सीबीआई जांच की मांग करेंगे। उन्होंने आरोप लगाया कि शारदा समूह के अध्यक्ष सुदीप्तो सेन का सीबीआई को पत्र लिखा जाना और शहर से उनका गायब हो जाना पार्टी के नेतृत्व द्वारा बनायी योजना का अंग था। घोष ने आरोप लगाया, पुलिस पार्टी के दिशानिर्देश पर काम कर रही है।


यही नहीं, तृणमूल कांग्रेस के निलंबित सांसद कुणाल घोष ने मंगलवार को अपनी ही पार्टी के वरिष्ठ नेता और परिवहन मंत्री मदन मित्र को कटघरे में खड़ा कर दिया।अपने ताजा बयान में उन्होने शारदा समूह की वकील पियाली की रहस्यमय मौत के बाबत मंत्री सेउनके रिश्ते की चर्चा की। गौरतलब है कि इससे पहले प्रवर्तन निदेशालय (इडी) की पूछताछ के बाद कुणाल ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा था कि शारदा प्रमुख सुदीप्त सेन ने दक्षिण 24 परगना के विष्णुपुर से कारोबार शुरू किया था। वहां से उन्होंने कारोबार का कैसे विस्तार किया, उन्हें (कुणाल) इस बारे में कोई जानकारी नहीं है। इसका जवाब परिवहन मंत्री मदन मित्र दे सकते हैं।


कुणाल के बयान का निहितार्थ यह है कि सारधा प्रमुख के क्रियाकलापों की जानकारी परिवहन मित्र को थी। 2009 में मदन मित्र दक्षिण 24 परगना के विष्णुपुर से विधायक निर्वाचित हुए थे। उधर, कुणाल के बयान पर मदन मित्र ने कड़ी नाराजगी जतायी और . उन्होंने कहा, 'शीशे के घर में बैठक कर दूसरे के घर पर पत्थर नहीं फेंकना चाहिए।'इसके जवाब में कुमाल ने शुक्रवार को कहा कि शारदा समूह की मृत महिला वकील के फ्लैट से दूसरों केघर में पत्थर मारना भी ठीक नहीं है।


गौरतलब है कि शारदा घोटाले में बिधाननगर पुलिस कमिश्नरेट के अधिकारी कुणाल घोष  से दस बार पूछताछ कर चुके हैं।


मुख्यमंत्री अग्निकन्या ममता बनर्जी महज पश्चिम बंगाल की लोकप्रिय नेता नहीं हैं। मुलायम सिंह यादव के साथ वे भी त्रिशंकु संसदीय जनादेश की हालत में  क्षत्रपों की सरकार के प्रधानमंत्रित्व के दावेदार हैं। अब तक मामूली साड़ी,बिना प्रसाधन,हवाई चप्पल और कालीघाट के साधारण घर की पृष्ठभूमि में उनकी छवी एकदम बेदाग बनी हुई है।


ममता दीदी के भतीजे अभिषेक बंद्योपाध्याय के कारपोरेट प्रोमोटर लिंक को भी बंगाली जनमानस ने सिरे से खारिज कर दिया। शारदा फर्जीवाड़े में तमाम मंत्रियों,सांसदों,विधायकों,नेताओं का वे आक्रामक ढंग से बचाव करती रहीं और इस कांड के बाद हुए हावड़ा संसदीय उपचुनाव,पंचायत चुनाव और पालिका चुनाव में जनता ने उन्हीं के प्रति अपनी आस्था जताते हुए वाम दलों की वापसी के दरवाजे बंद कर दिये। शुक्रवार को हिंसा के मध्य जो मतदान कुणाल के खुलासे से पहले हुआ,जाहिर है,उसमें भी दीदी की ही जय जयकार होगी।


लेकिन पहले ही पार्टी के दागियों पर लगे आरोपों और उनको रफा दफा करने की कवायद से उनके प्रति हमेशा से ही ईमानदार और प्रतिबद्ध रहने वाली आस्थावान  ग्रामीण जनता के लिए अब सचमुच धर्मसंकट है।


विश्वास डगमगाने लगा है। अब तक लोगों को यही लग रहा था कि चोर उचक्कों से घिरे होने के बावजूद उनकी दीदी चौबीस कैरेट सोने की बनी हुई है जिसमें कोई खोट हो ही नहीं सकती और वे बंगाल की बदहाली जरुर खत्म कर देंगी।चुनावी नतीजे बले कुछ हो,परिवर्तन के बाद बेलगाम हिसां,आर्थिक दिशाहीनता, निरंकुश प्रोमोटर अपराधी गठजोड़,कमरतोड़ मंहगाई, बेइंतहा बेरोजगारी के मध्य मंत्रियों, सांसदों,विधायकों, नेताओं की एक के बाद एक कारस्तानी से ग्रामीण क्षेत्रों में ममता बनर्जी की मां माटी मानुष की सरकार अपनी साख बहुत तेजी से गंवाने लगी है। अब यह तो सोलह आना सच है कि शारदा फर्जीवाड़े में सबसे अधिक नुकसान भी उन ग्रामीण इलाकों में रहने वाले लोगों का ही हुआ है।



रिलायंस को खुली छूट देकर बंगाल में थ्री जी साम्राज्य कायम करने की इजाजत देकर,फिर ऱघुनाथपुर में डीवीसी के थर्मल पावर प्लांट में तृणमूली अड़गेबाजी केमध्य सबसे बड़े कारखाने के लिए रिलायंस को जमीन देने की दीदी की कारवाई ने टाटा समूह और रतन टाटा के खिलाफ उनकी जमीन जंग का मतलब ही बदल दिया है।


टाटा समूह के प्रमुख रतन टाटा सिंगुर आंदोलन के पीछे शुरु से व्यवसायिक प्रतिद्वंद्वियों का हाथ बताते रहे हैं। टाटासमूह सिंगुर में नैनो परियोजना शुरु करना चाहते हैं,ऐसा उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में बताया भी है।लेकिन दीदी सिंगुर मुद्दे पर कोई रियायत दने को तैयार नहीं हैं लेकिन रतन टाटा से दुश्मनी जारी रखते हुए मुकेश अंबानी के साथ मजबूती से खड़ी हैं।


बंगाल में निवेशकों और उद्योगपतियों की समस्या सुलझाने में भी उनके प्रतिमान अलग अलग हैं। जिसके चलते उद्योग और कारोबार का माहौल तो कहीं सुधर ही नहीं रहा है,पूरा राज्य आर्थिक संकट के चंगुल में फंसा हुआ है और निवेशकों का तो ममता सरकार से भरोसा उठ ही रहा है।


अब तो हालत यह है कि वामदलों की क्या कहें, वर्ष 1998 में तृणमूल कांग्रेस के गठन के बाद से ही दीदी के साथ जुड़े रहे नेता एक के बाद एक ममता बनर्जी के खिलाफ बोलना शुरू कर चुके हैं।


अभी तक संगातज्ञ कबीर सुमन ही, जो वर्ष 2006 में तृणमूल से जुड़े और वर्ष 2009 में लोकसभा सदस्य बने और भ्रष्टाचार के मुद्दे को लेकर ममता बनर्जी से अलग हो गए, ममता बनर्जी के खिलाफ मोर्चा खोले हुए थे लेकिन अब सौगत रॉय, शिशिर अधिकारी और शुभेंदु अधिकारी भी ममता बनर्जी के प्रति नाउम्मीदी दर्शा चुके हैं।


उनका कहना है कि तृणमूल कांग्रेस के सांसदों, तपस पॉल और सोमेन मित्रा ने शारदा चिट फंड कंपनी जैसी अन्य कंपनियों की कार्यप्रणाली को लेकर सरकार को आगाह किया था, उसी समय पार्टी को कुछ ना कुछ कठोर कदम उठाने चाहिए थे।


सोमेन  मित्र ने तो प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को पत्र लिखकर भी यह बात बताई थी कि कैसे यह कंपनियां ग्रामीण लोगों को लूट रही हैं।


पार्टी से जुड़े वरिष्ठ नेताओं द्वारा जोरदार तरीके से यह मांग की जा रही है कि पार्टी में शामिल हर उस सदस्य से छुटकारा पाया जाए जिनका मेलजोल सुदीप्तो सेन या उस जैसे किसी भी व्यक्ति से है। यह मांग सीधे तौर पर उन सांसदों और विधानसभा सदस्यों को निशाने पर रख कर की गई है जिनका सीधा संबंध सुदीप्तो सेन के साथ है।


ममता के भूमि आंदोलन के कारपोरेट कनेक्शन पर वाम जमाने में रतन टाटा बार बार इसारा करते रहे,पर हमेसा जनता ने दीदी का साथ दिया। दीदी से अनबन होते ही सांसद कबीर सुमन ने नंदीग्राम और सिंगुर आंदोलन में माओवादियों की कमान का खुलासा किया और दीदी को मुख्यमंत्री बनाने के लिए पुलिसिया जुल्म विरोधी जनगणेर समिति के नेता युधिष्ठिर महतो को बलि का बकरा बनाने और माओवादी नेता किशन जी को मुठभेड़ में मार दिये जाने की बात भी कर ली।आम जनता पर कोई असर आज तक हुआ नहीं।दीदी धूम धड़ाके के साथ एक के बाद एक चुनाव जीतती चली जा रही हैं और विपक्ष का स्फाया होता जा रहा है।


अब जबकि कुणाल ने बिल्ली थैली से बाहर निकाल ही दी है और गोटालों के पीछे दीदी को सिरे से बेपर्दा कर दिया है,तो आगामी लोकसभा चुनावों में क्या कुछ होता है,इस समीकरण के दलचस्प बने जाने के आसार हैं।


शारदा चिट फंड घोटाले में गिरफ्तारी की आशंका को देखते हुए तृणमूल से निलंबित राज्यसभा सांसद कुणाल घोष शुक्रवार को संवाददाता सम्मेलन में रो पड़े। उन्होंने रोते हुए कहा कि करोड़ों रुपये के सारधा घोटाले में विधाननगर पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने की योजना बना रही है। शनिवार को पुलिस मुझे गिरफ्तार कर सकती है, लेकिन मैं अग्रिम जमानत लेने का प्रयास नहीं करूंगा। कुणाल का रवैया अप्रत्याशित था।


विधाननगर पुलिस कमीश्नर की ओर से कुणाल को शनिवार को साल्टलेक स्थित पुलिस मुख्यालय में हाजिर होने का निर्देश दिया गया है। कुणाल को आशंका है कि शनिवार को पुलिस दफ्तर में जाने के बाद उनकी गिरफ्तारी हो सकती है।


उत्तर कोलकाता स्थित अपने आवास पर राज्यसभा सदस्य ने मीडिया से कहा कि पुलिस ने उन्हें शुक्रवार को भी तलब किया था और जानना चाहा कि सारधा कांड के रुपये कहां है? इस दौरान पुलिस ने साफ संकेत दिया कि यदि कल सारधा समूह के अन्य निवेश के बारे में मैंने जानकारी नहीं दी तो मुझे गिरफ्तार कर लिया जाएगा। कुणाल ने ममता बनर्जी के करीबी नेता मुकुल राय पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री व सारधा समूह के प्रमुख सुदीप्त सेन के बीच बैठक हुई थी जिसमें सुदीप्त ने तृणमूल प्रमुख से कहा था कि आप प्रधानमंत्री बनें इस तरह से वह अपने मीडिया हाउस को सजा रहे हैं।


घोष ने यह भी कहा कि मुकुल राय के इशारे पर विधाननगर कमीश्नरी के आयुक्त राजीव कुमार कार्य कर रहे हैं। मामले की सीबीआइ जांच क्यों नहीं कराई जा रही है? उन्होंने कहा कि यदि सारधा ने मीडिया में 200 या तीन सौ करोड़ रुपये निवेश किए थे तो उससे 2000 करोड़ रुपये का फायदा किसे हुआ है, इसकी जांच क्यों नहीं हो रही है? वहीं, तृणमूल के राष्ट्रीय महासचिव व राज्यसभा सांसद मुकुल राय ने शुक्रवार को कुणाल घोष के बयान को लेकर कहा कि वह पार्टी से निलंबित हैं, इसीलिए कुछ नहीं कह सकते हैं। कानून अपना काम कर रहा है।


खास बात यह है कि अब तक बंगाल में नरेंद्र मोदी तक ममता राज की कुलकर तारीफ करने से अघा नहीं रहे थे।दीदी को अप्रत्य़क्ष समर्थन बतौर हावड़ा संसदीय उपचुनाव में भाजपा ने उम्मीदवार ही नहीं दिया और बिना शर्त दीदी को समर्थन जारी रखा है।लेकिन कुमाल के ताजा खुलासा के बाद शनिवार को कल्याणी हाईवे जाम करके भाजपाइयों ने शारदा फर्जीवाड़े की सीबीआई जांच की मांग कर दी है।


दूसरी ओर,पश्चिम बंगाल कांग्रेस ने भी करोड़ों रुपये के शारदा चिटफंड घोटाले और ऐसे अन्य तमाम  मामलों में सीबीआई जांच की मांग की है  और। आरोप लगाया है कि घोटाले के साजिशकर्ताओं को बचाने के प्रयास किए जा रहे हैं

कांग्रेस विधायक दल के नेता मोहम्मद सोहराब ने आरोप लगाया कि जिस तरह से तृणमूल कांग्रेस सरकार ने शारदा घोटाले के मुद्दे को संभाला है, उससे लगता है कि आरोपियों को बचाने के प्रयास किए जा रहे हैं।उन्होंने कांग्रेस विधायक दल की बैठक के बाद यहां संवाददाताओं से कहा, "जमाकर्ताओं को जनता के पैसे से मुआवजा दिया जा रहा है और तत्काल सीबीआई जांच का आदेश दिया जाना चाहिए।"


कांग्रेस ने राज्य सरकार से यह मांग भी की कि जनता को आधार कार्डों का वितरण तेजी से किया जाना चाहिए, खाद्य सुरक्षा कानून को लागू करना चाहिए और रोजमर्रा की वस्तुओं के दाम कम किए जाने चाहिए।उन्होंने राज्य में कानून व्यवस्था बिगड़ने के लिए प्रदेश सरकार को जिम्मेदार ठहराया और महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों पर सरकार की निंदा की।




पश्चिम बंगाल की जनता को सुनहरे सपने दिखाकर उनके साथ धोखाधड़ी करने वाली शारदा रियल्टी चिट फंड कंपनी के मालिक सुदीप्तो सेन को तो पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है लेकिन इस गिरफ्तारी ने ममता बनर्जी की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। यूं तो ममता बनर्जी ने इस चिट फंड कंपनी में निवेश कर अपने पैसे गंवाने वाले लोगों के लिए 500 रुपए करोड़ के राहत कोष की घोषणा की है लेकिन जैसे-जैसे इस केस की परतें खुलने लगी हैं वैसे-वैसे जिस भरोसे के साथ वर्ष 2011 में राज्य की जनता ने ममता बनर्जी को सत्ता पर बैठाया था वह विश्वास भी शिथिल पड़ता जा रहा है।


गौरतलब  है कि सुदीप्तो सेन पहले ही ममता सरकार के चार प्रमुख सांसदों मुकुल राय,कुणाल घोष,शताबादी राय और संजय बोस, पर  सुदीप्तो देवयानी के साथ इस घोटाले में शामिल होने जैसे आरोप लग चुके हैं। शारदा समूह की वकील पियाली से एक मंत्री के रंगीन रिश्ते और उस वकील की रहस्यजनक मौत का मामला फिर कुमाल ने उछाल दिया है,जिसे रफा दफा समझा जा रहा था।दूसरे मंत्री भी शारदा सरोवर के पंछी हैं,इसका बार बार खुलासा होता रहा है।


अब तक अपने मंत्रियों के बचाव में नजर आने वाली ममता बनर्जी खुद आरोपों के दायरे में घिरती नजर आ रही हैं क्योंकि सत्ताधारी तृणमूल कांग्रेस ने शारदा चिट फंड कंपनी में निवेश करने वाले सभी निवेशकों, जो कि उनके मतदाता भी हैं, को यह आश्वासन दिया था कि इस कंपनी को राज्य सरकार का समर्थन प्राप्त है इसीलिए सरकार पर भरोसा करने के बाद निवेशकों ने अपना पैसा शारदा चिट फंड कंपनी में लगाया और इस भरोसे के ईनाम के रूप में उन्हें मिला तो सिर्फ धोखा।



গ্রেফতারের পর ফেসবুকে কুণাল বোমা, নিজের পেজে অভিযোগ আনলেন চক্রান্তের, জানালেন সারদা কাণ্ডে তদন্তে সাহায্য করতে পারেন মমতা ব্যানার্জি সহ আরও ১২জন

গ্রেফতারের পরেও কুণাল ঘোষের বিস্ফোরণ থামছে না। মোবাইলের মাধ্যমে নিজের ফেসবুক পেজে জানালেন সারদা কাণ্ডে তদন্তে সাহায্য করতে পারে এমন দশ জনের নাম। এবং এই প্রথম বার মদন মিত্র, টুটু বসুদের সঙ্গে সরাসরি নাম করলেন মুখ্যমন্ত্রী মমতা বন্দোপাধ্যায়েরও।


কুণাল ঘোষের ফেসবুক জবানির বিস্তারিত:" কিছু বলার আছে...অন্যায়ভাবে আমাকে অ্যারেস্ট করা হল। গভীর চক্রান্ত। আমি মিডিয়া কর্মী। চিট ফান্ডে জড়িত নই। আমি তদন্তে সাহায্য করছিলাম। যখন যতবার ডেকেছে, গিয়েছি। সাহায্য করেছি। কিন্তু এই পুলিস এই সাহায্য নেবে না। অনেককে আড়াল করে একতরফা কেস সাজানো চলছে। সুদীপ্ত সেনের সিবিআই লেটার-এ যারা জড়িত, তদন্তে তাদেরই প্রভাব।


যারা সেন কে চিনতেন, সারদার ডিরেক্ট ওর ইনডিরেক্ট সাহায্য পেয়েছেন, কিম্বা অন্যভাবেও জানেন, তাদের তদন্তে সাহায্য চাওয়া হক।


যারা সাহায্য করতে পারেন ১) টুটু বোস, সৃঞ্জয় বোস, সৌমিক বোস ২) রজত মজুমদার ৩)শুভেন্দু অধিকারী ৪) মদন মিত্র ৫) কৃষ্ণা চক্রবর্তী, বুয়া চক্রবর্তী(সমির)৬) কেডি সিং ৭) আসিফ খান ৮) মুকুল রায় ৯) মমতা ব্যানার্জি।


এরা সবাই শ্রদ্ধেয়, বিশিষ্ট। সারদা তদন্তে পুলিস এঁদের সাহায্য চাইতে পারে। কিন্তু চাইছে না। আমি কোনও অভিযোগ করছি না। সাহায্য চাওয়ার কথা বলছি।


আর একটা কথা কথা...কেউ আইনের উর্দ্ধে নয়...এটা বলা সহজ...নিজেদের আড়ালে রেখে। যাঁরা এটা করছেন, আমার এবং অনেকের প্রতি অবিচার করছেন। বদনাম দেওয়ার খেলা। এটা আমার প্রাপ্য ছিল না। টিএমসি-র সঙ্গে কঠিন দিন থেকে ছিলাম। টিএমসি-র জন্য অনেকের সাথে শত্রুতা করেছি। আমি সুবিধাবাদী নই। আমার কাজ, আমার পেশাকে ব্যবহার করে পিঠে ছুরি মারা হল। আমি রাজনীতিবিদ নই। কাজ করতে চেয়েছি আরও বেশি করে। আমি মানি মার্কেটে জড়িত না। জড়িত না। জড়িত না। সারদা তদন্ত অবিলম্বে সিবিআই কে দেওয়া হোক।


কারুর গায়ে কাদা ছোড়ার ইচ্ছা নেই। রুচিও নেই। এতদিন বলিওনি। কিন্তু এটুকু বলেছি, কয়েকজন তদন্তে সাহায্য করতে পারেন। টিএমসি কে আমিও ভালবাসি। নিজের রক্ত দিয়ে গড়া সাংবাদিক সত্ত্বা টিএমসি-এর জন্য উজাড় করে দিয়েছি।``


First Published: Saturday, November 23, 2013, 23:00

http://zeenews.india.com/bengali/kolkata/kunal-facebook_18055.html


কুণাল ঘোষকে ৫ দিনের পুলিস হেফাজতের নির্দেশ দিল আদালত

অবশেষে সারদা কাণ্ডে গ্রেফতার করা হল কুণাল ঘোষকে। সারদার অনিয়মের সঙ্গে কুণাল ঘোষ জড়িত থাকার প্রমাণ পাওয়া গেছে বলেই তাঁকে গ্রেফতার করা হয়েছে। সাংবাদিক বৈঠকে শনিবার এ কথা জানিয়েছেন গোয়েন্দাপ্রধান। তাঁর বিরুদ্ধে প্রতারণা ও ষড়যন্ত্রের অভিযোগ দায়ের করা হয়েছে। তৃণমূল কংগ্রেস সাংসদ কুণাল ঘোষের LIVE TIME LINE।


রবিবারের টাইম লাইন:


দুপুর ২টো: কুণাল ঘোষের পুলিস হেফাজত। ৫ দিনের পুলিস হেফাজতের নির্দেশ দিল বিধাননগর আদালত।


১টা ২০: কুণালের পুলিসের হেফাজতের আর্জি। তৃণমূলের সংসদকে হেফাজতের আর্জি। বিধাননগর আদালতে আর্জি পুলিসের। আরও নথি সংগ্রহ প্রয়োজন। টিডিএস না দেওয়ার অভিযোগ। ৭ দিনের হেফাজত চাইল পুলিস।


১টা ১০: 'আদালতকে কিছু বলতে চাই'। বললেন কুণাল ঘোষ। আইনজীবীর মাধ্যমে জানান, বলল বিধাননগর আদালত।


১০টা ৪০: বিধাননগর আদালতে আনা হল কুণালকে। পেশ অপূর্ব ঘোষের এজলাসে।


১০টা ৩০: বিধাননগর আদালতে কুণাল ঘোষ। কিছুক্ষণ আগে আদালতে আনা হয় তাঁকে।


সকাল ৮টা ৩০: পুলিস হেফাজতে থাকা অবস্থায় কীভাবে ফেসবুকে বার্তা দিলেন কুণাল? ঘটনার তদন্তে নামল পুলিস। দায়িত্বে পুলিস কমিশনার রাজীব কুমার।


ভোর ৫টা: কুণালকে সঙ্গে নিয়ে তাঁর বাড়িতে তল্লাসি চালায় পুলিস। ভোর ৫টায় তাঁকে নিয়া আসা হয়। ১টি কম্পিউটার বাজেয়াপ্ত করে বিধাননগর পুলিসের গোয়েন্দারা।


সকাল ৯টা: গ্রেফতারের পরই অনশন শুরু করেছেন তৃণমূল সাংসদ কুণাল ঘোষ। পুলিস সূত্রে খবর, গতকাল রাত থেকে কিছুই খাননি তিনি। এরই মধ্যে ভোররাতে কুনাল ঘোষকে সঙ্গে নিয়ে তাঁর বাড়িতে তল্লাসি চালান গোয়েন্দারা। আজ ভোর পাঁচটা নাগাদ কুনাল ঘোষকে তাঁর বাড়িতে নিয়ে যান বিধাননগর পুলিসের গোয়েন্দারা। বাড়িতে তল্লাসি চালিয়ে কম্পিউটরের একটি সিপিইউ বাজেয়াপ্ত করা হয়।


শনিবারের টাইম লাইন:  


গ্রেফতার হলেন কুণাল ঘোষ। শনিবার দিনভর স্নায়ুযুদ্ধের পর সারদা মামলায় তৃণমূলের এই সাংসদকে গ্রেফতার করল বিধাননগর কমিশারিয়েট।

বেলা ১টা ১৫: বাড়ি থেকে বিধান নগরের উদ্দেশে রওনা হলেন তৃণমূল সাংসদ কুণাল ঘোষ।

বেলা ১টা ৪৫: বিধাননগর দক্ষিণ থানায়  পৌঁছলেন কুণাল ঘোষ। বিধাননগর কমিশরিয়েটের গোয়েন্দা প্রধান অর্ণব ঘোষের বিরুদ্ধে  হুমকি দেওয়া, ভয় দেখানো এবং জোর করে সম্মতি আদায়ের চেষ্টার অভিযোগ আনলেন তিনি। কুণাল ঘোষের অভিযোগ, সারদা কাণ্ডের টাকা সংবাদমাধ্যমের বাইরে আর কোথায় রয়েছে তা না জানালে তাঁকে গ্রেফতারের হুমকি দিয়েছিলেন গোয়েন্দা প্রধান।


বেলা ৪টে: বিধাননগর দক্ষিণ থানায় নেওয়া হল কুণাল ঘোষের অভিযোগ।


সন্ধে ৭টা ৩০: কুণাল ঘোষকে গ্রেফতার করল বিধান নগর কমিশারিয়েট।



তাঁর বিরুদ্ধে যে যে ধারায় মামলা আনা হয়েছে সেগুলি হল:

৪২০ প্রতারণা

৪০৬ কোনও সংস্থার কর্ণধার হিসেবে প্রতারণা

১২০ বি ষড়যন্ত্র

First Published: Sunday, November 24, 2013, 14:43

http://zeenews.india.com/bengali/kolkata/kunal-ghosh-arrest-timeline_18056.html

Like ·  · Share · 1,622286291 · 17 hours ago ·

গ্রেপ্তারের পর ফেসবুকে বিস্ফোরক কুণাল ঘোষ

অন্যায় ভাবে আমাকে অ্যারেস্ট করা হল৷ গভীর চক্রান্ত৷


আমি মিডিয়া কর্মী৷ চিট ফান্ডে জড়িত নই৷ আমি তদন্তে সাহায্য করছিলাম৷ যখন যতবার ডেকেছে , গিয়েছি৷ সাহায্য করেছি৷ কিন্ত্ত এই পুলিশ এই সাহায্য নেবে না৷ অনেককে আড়াল করে একতরফা কেস সাজানো চলছে৷ সুদীন্ত সেনের সিবিআই লেটারে যাঁরা জড়িত , তদন্তেও তাঁদেরই প্রভাব৷ যাঁরা সেনকে চিনতেন , সারদার ডিরেক্ট অর ইনডিরেক্ট সাহায্য পেয়েছেন , কিংবা অন্য ভাবে জানেন , তাঁদের তদন্তে সাহায্য চাওয়া হোক৷


যাঁরা সাহায্য করতে পারেন .. ১৷ টুটু বোস , সৃঞ্জয় বোস , সৌমিক বোস ২৷ রজত মজুমদার৩৷ শুভেন্দু অধিকারী ৪৷ মদন মিত্র ৫৷ কৃষ্ণা চক্রবর্তী , বুয়া চক্রবর্তী (সমীর ) ৬৷ কে ডি সিং৭৷ আসিফ খান ৮৷ মুকুল রায় ৯৷ মমতা ব্যানার্জি৷


এঁরা সবাই শ্রদ্ধেয়৷ বিশিষ্ট৷ সারদা তদন্তে পুলিশ এঁদের সাহায্য চাইতে পারে৷ কিন্ত্ত চাইছে না৷ আমি কোনও অভিযোগ করছি না৷ সাহায্য চাওয়ার কথা বলছি৷


আর একটা কথা ... কেউ আইনের ঊর্ধ্বে নয় ... এটা বলা সহজ ... নিজেদের আড়ালে রেখে৷ যাঁরা এটা করছেন , আমার এবং অনেকের প্রতি অবিচার করছেন৷ বদনাম দেওয়ার খেলা৷ এটা আমার প্রাপ্য ছিল না৷ টিএমসি -র সঙ্গে কঠিন দিন থেকে ছিলাম৷ টিএমসি -র জন্য অনেকের সঙ্গে শত্রুতা করেছি৷ আমি সুবিধাবাদী নই৷ আমার কাজ , আমার পেশাকে ব্যবহার করে পিঠে ছুরি মারা হল৷ আমি রাজনীতিবিদ নই৷ কাজ করতে চেয়েছি আরও বেশি করে৷ আমি মানি মার্কেটে জড়িত না৷ জড়িত না৷ জড়িত না৷


সারদা তদন্ত অবিলম্বে সিবিআই -কে দেওয়া হোক৷ (শনিবার রাত ১০ .১৫ -এ ফেসবুকে লেখা কুণাল ঘোষের পোস্ট ) ৷



24 Ghanta

গ্রেফতারের পর ফেসবুকে কুণাল বোমা, নিজের পেজে অভিযোগ আনলেন চক্রান্তের, জানালেন সারদা কাণ্ডে তদন্তে সাহায্য করতে পারেন মমতা ব্যানার্জি সহ আরও ১২জন

http://zeenews.india.com/bengali/kolkata/kunal-facebook_18055.html


কুণাল ঘোষকে ৫ দিনের পুলিশ হেফাজত


এই সময়: ​জামিনের আর্জি খারিজ করে কুণাল ঘোষকে ৫ দিনের পুলিশ হেফাজতের নির্দেশ দিল বিধাননগর আদালত।সারদা কেলেঙ্কারিতে গ্রেপ্তার সাংসদ কুণাল ঘোষকে বিধাননগর আদালতে পেশ করা হয়। রবিবার ভোররাতে কুণাল ঘোষকে সঙ্গে নিয়ে তাঁর বাড়িতে তল্লাসি চালায় নিধাননগর পুলিশ গোয়েন্দারা। সেখানে কম্পিউটারের একটি সিপিইউ বাজেয়াপ্ত করা হয়েছে।পুলিশ সূত্রের খবর, গ্রেপ্তারের পর পরই তিনি খাওয়াদাওয়া বন্ধ করেছেন।


সারদা কেলেঙ্কারিতে শেষপর্যন্ত গ্রেপ্তার করা হল তৃণমূল সাংসদ কুণাল ঘোষকে৷ ইলেকট্রনিক কমপ্লেক্স থানায় রুজু হওয়া ৩৪ নম্বর মামলায় কুণালবাবুকে গ্রেপ্তার করা হয়েছে বলে শনিবার রাতে জানান বিধাননগর কমিশনারেটের গোয়েন্দা প্রধান অর্ণব ঘোষ৷ তবে শুধুমাত্র এই মামলাই নয়, বৃহত্তর ভাবে সারদা গোষ্ঠীর কর্ণধার সুদীপ্ত সেনের অন্যান্য প্রতারণার কারবারেও কুণালবাবুর যোগসাজশ ছিল বলে 'প্রাথমিক প্রমাণ' পুলিশের হাতে আসে৷ তার পরই কুণালবাবুকে গ্রেপ্তারের সিদ্ধান্ত নেয় বিধাননগর কমিশনারেট৷


শনিবার দুপুর ২টোয় কুণালবাবুকে জিজ্ঞাসাবাদের জন্য ডেকে পাঠানো হয়েছিল৷ তার আগেই অবশ্য বিধাননগর দক্ষিণ থানায় খোদ গোয়েন্দা প্রধানের বিরুদ্ধে হুমকি দেওয়ার অভিযোগ দায়ের করেন কুণালবাবু৷ তার পর আর তাঁকে বেরোতে দেখা যায়নি৷ থানায় যেতে দেখা যায়নি কমিশনারেটের কোনও উচ্চপদস্থ আধিকারিককেও৷ স্বাভাবিক ভাবেই কুণালবাবুর সঙ্গে কী ঘটতে চলেছে, তা নিয়ে সংশয় দানা বাঁধছিল৷ অবশেষে রাত ৮টা নাগাদ কুণালবাবুকে গ্রেপ্তারের কথা ঘোষণা করেন গোয়েন্দা প্রধান৷

শনিবার তাঁকে গ্রেপ্তার করা হতে পারে বলে শুক্রবারই সাংবাদিক বৈঠকে আশঙ্কা প্রকাশ করেছিলেন কুণালবাবু৷ গোয়েন্দা প্রধান অর্ণববাবু ফোনে তাঁকে গ্রেপ্তারির হুমকি দিয়েছেন বলেও অভিযোগ করেন কুণালবাবু৷ কান্নায় ভেঙে পড়েও তোপ দেগেছিলেন খোদ মুখ্যমন্ত্রী মমতা বন্দ্যোপাধ্যায়, দলের সর্বভারতীয় সাধারণ সম্পাদক মুকুল রায়-সহ শীর্ষ নেতৃত্বের বিরুদ্ধে৷ শুক্রবার রাতেও নারকেলডাঙার গড়পার রোডে কুণালবাবুর বাড়িতে হানা দিয়েছিল পুলিশ৷ এ দিন দুপুরে বিধাননগর দক্ষিণ থানায় ঢোকার সময় কুণালবাবুর মুখ ছিল থমথমে৷ তিনি যে কার্যত ভেঙে পড়েছেন, দৃশ্যতই তা বোঝা যাচ্ছিল৷ শুক্রবার তিনি হুমকি দিয়েছিলেন, গ্রেপ্তার হলে তিনি সারদা কেলেঙ্কারিতে আরও অনেকের নাম ফাঁস করে দেবেন৷ এ দিন থানায় ঢোকার আগে কুণালবাবুকে প্রশ্ন করা হয়, তিনি কারও নাম বলবেন কি না৷ কারণ গ্রেপ্তার হয়ে গেলে তিনি আর সাংবাদিক বৈঠক করার সুযোগ পাবেন না৷ থমথমে মুখে কুণালবাবু বলেন, 'আগে এফআইআর করি৷ তার পর যা বলার বলব৷' সে সুযোগ অবশ্য পাননি তিনি৷

কেন গ্রেপ্তার করা হল কুণালবাবুকে? গোয়েন্দা প্রধান বলেন, 'ইলেকট্রনিক কমপ্লেক্স থানায় ব্রডকাস্ট ওয়ার্ল্ড ওয়াইড লিমিটেডের জেনারেল ম্যানেজারের দায়ের করা অভিযোগের ভিত্তিতে তাঁকে গ্রেপ্তার করা হয়েছে৷ সেই অভিযোগের পক্ষে প্রাথমিক প্রমাণ মেলার পরই গ্রেপ্তার করা হয় তাঁকে৷ তিনি সারদা গোষ্ঠীর গ্রুপ সিইও ছিলেন৷ আমাদের তদন্তে এখনও পর্যন্ত যে প্রমাণ পেয়েছি তাতে জানা গিয়েছে, সুদীপ্তবাবু ও অন্যদের সঙ্গে গোটা ষড়যন্ত্রে তিনিও যুক্ত ছিলেন৷ সংস্থায় তাঁর যে পদমর্যাদা ছিল, এই মামলায় তার বাইরেও কুণালবাবুর যোগ পাওয়া গিয়েছে৷' সংস্থার তহবিল থেকে টাকা সরানোর সঙ্গেও কি কুণালবাবু যুক্ত ছিলেন? অর্ণববাবুর জবাব, 'কিছু তথ্যপ্রমাণ তো পাওয়া গিয়েছেই৷' সারদা গোষ্ঠীর কয়েক লক্ষ আমানতকারীর টাকা তছরুপের সঙ্গেও কি তাঁর যোগ পাওয়া গিয়েছে? অর্ণববাবু বলেন, 'এই ষড়যন্ত্রে (৩৪ নম্বর মামলায়) সুদীপ্ত সেন ও অন্যদের সঙ্গে কুণাল ঘোষও সমান ভাবে যুক্ত ছিলেন৷ এই ষড়যন্ত্রের ফলে এই সব ঘটনা ঘটেছে৷'

এর আগে দশবার কুণালবাবুকে কমিশনারেটে ডেকে পাঠানো হয়েছে৷ কিন্ত্ত তাঁকে গ্রেপ্তার করা হয়নি৷ এ দিন তা হলে হঠাত্‍ তাঁকে গ্রেপ্তার করা হল কেন? গোয়েন্দা প্রধান বলেন, 'এখন যে তথ্যপ্রমাণ মিলেছে, তা তাঁকে গ্রেপ্তার করার জন্য যথেষ্ট৷' শনিবার কুণালবাবু আশঙ্কা প্রকাশ করেছিলেন, সারদা মামলায় প্রায় ৫০০টির মতো মামলা রুজু হয়েছে৷ সব মামলায় তাঁকে যুক্ত করে যদি ১০দিন করে পুলিশ হেফাজতে পাঠানো হয়, তা হলে পাঁচ হাজার দিন থানায় কাটাতে হবে৷ অর্ণববাবুকে একাধিকবার প্রশ্ন করা হয় শুধুমাত্র ৩৪ নম্বর মামলা, নাকি সারদা গোষ্ঠীর অন্যান্য প্রতারণার মামলাতেও কুণালবাবুর যোগ পাওয়া গিয়েছে? গোয়েন্দা প্রধান বলেন, 'সুদীপ্ত সেনের বেশিরভাগ বেআইনি কার্যকলাপে উনি সমান ভাবে যুক্ত ছিলেন৷' গোয়েন্দা প্রধানের মন্তব্য থেকে পরিষ্কার, সারদা গোষ্ঠীর আমানতকারীদের প্রতারণার মামলাতেও যুক্ত করা হতে পারে তৃণমূলের এই সাংসদকে৷

কিন্ত্ত খোদ গোয়েন্দা প্রধানের বিরুদ্ধে যে হুমকি দেওয়ার অভিযোগ এনেছেন কুণালবাবু, তার ভিত্তিতে কি গোয়েন্দা প্রধানের বিরুদ্ধে এফআইআর করা হবে? গোয়েন্দা প্রধান বলেন, 'যে অভিযোগ পাওয়া গিয়েছে, তার ভিত্তিতে যে আইনানুগ ব্যবস্থা নেওয়া উচিত, তাই নেওয়া হবে৷ কিন্ত্ত এক্ষেত্রে যেহেতু আমার বিরুদ্ধেই অভিযোগ, তাই আমি এ নিয়ে কিছু বলব না৷ যা বলার পুলিশ কমিশনার (রাজীব কুমার) বলবেন৷ অভিযোগ সত্যি হলে যা ফল ভোগ করার কথা আমি করব৷ অভিযোগ মিথ্যা হলে আইনি ভাবে যা হওয়ার হবে৷' বিধাননগরের পুলিশ কমিশনার রাজীববাবু অবশ্য সংবাদমাধ্যমের মুখোমুখি হননি৷ পুলিশ জানিয়েছে, রাজ্যসভার একজন সাংসদকে গ্রেপ্তারের ক্ষেত্রে নিয়ম অনুযায়ী যে-সব প্রক্রিয়া গ্রহণ করা উচিত, তার সবই করা হয়েছে৷ অর্থাত্‍ এটা পরিষ্কার, যথেষ্ট তথ্যপ্রমাণ হাতে নিয়ে রীতিমতো আটঘাট বেঁধেই নেমেছেন বিধাননগর কমিশনারেটের গোয়েন্দারা৷ গ্রেপ্তার হলে সারদা-কাণ্ডে সিবিআই তদন্ত চেয়ে প্রধানমন্ত্রীকে যে চিঠি দেওয়ার কথা কুণালবাবু শুক্রবার বলেছিলেন, সেই চিঠি তিনি পাঠিয়েছেন কি না, তা অবশ্য এ দিন পরিষ্কার হয়নি৷

কুণালবাবুর গ্রেপ্তারির পর নতুন করে রাজনৈতিক তোপ দাগা শুরু হয়েছে৷ সিপিএম রাজ্য সম্পাদকমণ্ডলী সদস্য মহম্মদ সেলিমের বক্তব্য, 'হাজার হাজার কোটি টাকার সারদা কেলেঙ্কারি ও প্রতারণায় একা কুণাল ঘোষ জড়িত এমন নয়, আরও অনেকে জড়িত৷ কুণালবাবু ইতিমধ্যে যাঁদের নাম বলেছেন তাঁদের জিজ্ঞাসাবাদ করা হোক৷ তিনি যখন মুখ্যমন্ত্রী-সহ তৃণমূলের একাধিক নেতাকে নিয়ে কিছু বেঁফাস কথা বলা শুরু করলেন তখনই তাঁকে গ্রেপ্তার করা হল৷ এর ফলে সিবিআই তদন্তের দাবি আরও জোরদার হল৷' এর আগেই অবশ্য সারদা কেলেঙ্কারিতে সিবিআই তদন্ত দাবি করেন বামফ্রন্ট চেয়ারম্যান বিমান বসু৷ তাঁর কথায়, 'ব্যাগ থেকে বেড়াল বেরোচ্ছে৷ আস্তে আস্তে সব বেরিয়ে আসবে৷' এতদিন সিপিএম নেতৃত্ব আদালতের তত্ত্ববধানে সিবিআই তদন্ত দাবি করত৷ এ দিন কিন্ত্ত আদালতের তত্ত্বাবধানে তদন্তের বদলে সরাসরি সিবিআই তদন্ত চেয়েছেন বিমানবাবু৷


Like ·  · Share · 1,321351344 · 14 hours ago ·

Like ·  · Share · 3729043 · 2 hours ago ·



গোয়েন্দাপ্রধানের বিরুদ্ধে পাল্টা অভিযোগ

১১ দফা জেরার দিনে গ্রেফতার সাংসদ কুণাল

নিজস্ব সংবাদদাতা • কলকাতা

তৃণমূলের সাসপেন্ড হওয়া রাজ্যসভার সাংসদ কুণাল ঘোষকে শেষ পর্যন্ত গ্রেফতার করল পুলিশ। শনিবার সন্ধ্যায় বিধাননগর পুলিশ তাঁকে গ্রেফতার করে। তাঁর বিরুদ্ধে ৪২০ (প্রতারণা), ৪০৬ (অপরাধমূলক বিশ্বাসভঙ্গ) এবং ১২০-বি (ষড়যন্ত্র) ধারায় অভিযোগ দায়ের করা হয়েছে। রাত প্রায় পৌনে ৮টা নাগাদ বিধাননগর পুলিশ কমিশনারেটের গোয়েন্দাপ্রধান অর্ণব ঘোষ জানান, নির্দিষ্ট প্রমাণের ভিত্তিতে কুণালবাবুকে গ্রেফতার করা হয়েছে।

কুণালবাবুর গ্রেফতারের খবর দিতে গিয়ে বিধাননগর কমিশনারেটের দফতরে সাংবাদিকদের অর্ণববাবু বলেন, "সারদা-কাণ্ডে সুদীপ্ত সেনের সঙ্গে কুণাল ঘোষও সমান ভাবে ষড়যন্ত্রে জড়িত ছিলেন। তদন্তে তার প্রমাণ পাওয়া গিয়েছে বলেই তাঁকে গ্রেফতার করা হল। তিনি এখন আমাদের হেফাজতেই রয়েছেন।" গোয়েন্দা প্রধান জানান, বিধাননগর সেক্টর ফাইভ থানায় এ বছর এপ্রিল মাসে সারদা গোষ্ঠীরই একটি সংস্থা ব্রডকাস্ট ওয়ার্ল্ডওয়াইড লিমিটেডের এক জেনারেল ম্যানেজার অভিযোগ দায়ের করেন। যার কেস নম্বর ৩৪। ওই অভিযোগের তদন্তের ভিত্তিতেই কুণালবাবুকে গ্রেফতার করা হয়েছে।

*

গ্রেফতার হওয়ার পরে সাংসদ কুণাল ঘোষ। শনিবার বিধাননগর (দক্ষিণ) থানায়। ছবি: রণজিৎ নন্দী

পুলিশ জানিয়েছে, কুণাল ঘোষের বিরুদ্ধে কর্মীদের বেতন না দেওয়া এবং প্রভিডেন্ট ফান্ডের টাকা জমা না দেওয়ার অভিযোগ (কেস নম্বর ৩৪) এনেছিলেন ব্রডকাস্ট ওয়ার্ল্ডওয়াইড লিমিটেডের কর্তা ইন্দ্রজিৎ রায়। পুলিশের দাবি, এই অভিযোগের সত্যতার প্রমাণ মিলেছে। বিধাননগরের গোয়েন্দাপ্রধান অবশ্য বলেছেন, "কুণালবাবু সারদা গোষ্ঠীর চিফ এগ্জিকিউটিভ অফিসার ছিলেন। আপাতত শুধু মাত্র ৩৪ নম্বর কেসটিতে তাঁর বিরুদ্ধে অভিযোগ প্রমাণ হয়েছে। তাই ওঁকে গ্রেফতার করা হল। তদন্তের ভিত্তিতে পরে সারদা-কাণ্ডের অন্য মামলাগুলিতেও তাঁকে অভিযুক্ত করা হতে পারে।" শুক্রবারই কুণাল ঘোষ নিজের বাড়িতে সাংবাদিক বৈঠক ডেকে গ্রেফতার হওয়ার আশঙ্কা প্রকাশ করেছিলেন। সাংবাদিকদের সামনে কান্নায় ভেঙে পড়ে তিনি দাবি করেছিলেন, সারদার কর্ণধার সুদীপ্ত সেনের টাকা কোথায় কোথায় আছে, তা শনিবারের মধ্যে না-জানালে তাঁকে গ্রেফতার করা হবে বলে জানিয়েছেন গোয়েন্দা প্রধান অর্ণব ঘোষ। তিনি কোনও অপরাধ করেননি বলে দাবি করে কুণাল জানান, তিনি কখনওই আগাম জামিনের আর্জি জানাবেন না। কাল এ কথা বললেও শনিবার দুপুরে কিন্তু পুলিশকে পাল্টা চাপে ফেলার চেষ্টা করেন তৃণমূলের সাসপেন্ড হওয়া সাংসদ। বিধাননগর (দক্ষিণ) থানায় গিয়ে কুণাল বিধাননগর পুলিশের গোয়েন্দাপ্রধানের বিরুদ্ধে তাঁকে গ্রেফতারের হুমকি, হয়রানি করা ও মানসিক নির্যাতনের অভিযোগ দায়ের করেন। এই অভিযোগ প্রসঙ্গে গোয়েন্দাপ্রধান কোনও মন্তব্য করতে চাননি। তিনি শুধু বলেন, "অভিযোগ যখন আমার বিরুদ্ধে, আমি এই নিয়ে কিছু বলব না। যা বলার পুলিশ কমিশনার বলবেন। আইন আইনের পথে চলবে।" এই অভিযোগ দায়ের হওয়ার কিছু ক্ষণের মধ্যেই কুণালকে গ্রেফতার করে পুলিশ।

কুণাল নিজেকে নির্দোষ বলে যে দাবি করেছেন সে সম্পর্কে তৃণমূল কংগ্রেসের তরফে কোনও মন্তব্য করা হয়নি। দলের সর্বভারতীয় সম্পাদক মুকুল রায় শুধু বলেছেন, "আইন আইনের পথে চলবে।"

*

কুণালবাবুকে গ্রেফতার করা হলেও ঠিক এক দিন আগে তিনি সারদা-কাণ্ডে আরও অনেকে জড়িত বলে যে অভিযোগ করেছিলেন, সে ব্যাপারে কী ব্যবস্থা নিচ্ছে পুলিশ? অর্ণববাবু জানিয়েছেন, শুক্রবার কুণাল সারদা-কাণ্ডের সঙ্গে জড়িত আরও কয়েক জনের নাম জানিয়েছেন।

পুলিশ সেই সব লোকেদের জেরা করবে কি? গোয়েন্দাপ্রধান বলেন, "তদন্তের স্বার্থে এখনই ওই বিষয়ে কিছু বলা যাবে না।" সারদা-কাণ্ডে যে সব বড় বড় মাথা জড়িত বলে এত দিন তিনি অভিযোগ করেছেন, গ্রেফতার হলে তাঁদের সকলের নাম তিনি পুলিশ ও সংবাদমাধ্যমের কাছে প্রকাশ করে দেবেন বলে গত কালই জানিয়েছিলেন কুণাল। তিনি এ-ও বলেছিলেন, সারদা-গোষ্ঠীর কাছ থেকে যাঁরা দিনের পর দিন সুবিধা ভোগ করেছেন, তাঁরা আজ 'বাংলার ঘরে ঘরে ভগবান জ্ঞানে পূজিত!' তবে তাঁরা কারা, সে ব্যাপারে বিস্তারিত ভাবে এখনও কিছু বলেননি কুণাল।

সারদা-কাণ্ডের পর থেকে কুণালকে এর আগে দশ বার জিজ্ঞাসাবাদের জন্য ডেকে পাঠায় পুলিশ। প্রতি বারই তিনি পুলিশের সামনে হাজির হন। এ দিনও জেরা করার জন্য পুলিশ তাঁকে ডেকে পাঠায়। কিন্তু বেলা দু'টো নাগাদ দেখা যায়, কুণালবাবু বিধাননগর (দক্ষিণ) থানায় ঢুকছেন। সেখানে গোয়েন্দাপ্রধানের বিরুদ্ধে অভিযোগ দায়ের করেন তিনি। এর পাঁচ ঘণ্টা পরে তাঁকে গ্রেফতার করা হয়। মাঝের এই কয়েক ঘণ্টা তিনি ওই থানাতেই ছিলেন। পুলিশ কর্তাদের দাবি, এক জন সাংসদকে গ্রেফতার করতে হলে যে বিধি মানা উচিত, কুণালবাবুর ক্ষেত্রে তা সবই করা হয়েছে। কুণালবাবুকে গ্রেফতারের আগে বিধাননগর পুলিশ কমিশনারেটের কর্তারা নিজেদের মধ্যে ঘণ্টাখানেক বৈঠক করেন। গ্রেফতারের পরে রাত সাড়ে ৮টা নাগাদ বিধাননগর (দক্ষিণ) থানায় এক চিকিৎসককে আনা হয়। তাঁকে দিয়ে কুণাল ঘোষের শারীরিক পরীক্ষা করায় পুলিশ।

কুণালের বক্তব্যকে হাতিয়ার করে সারদা-কাণ্ডে সিবিআই তদন্তের দাবিতে ফের সরব হয়েছে বামেরা। একই সঙ্গে এই প্রশ্নে তৃণমূলকেও নিশানা করছে তারা। আলিমুদ্দিনে এ দিন বামফ্রন্টের বৈঠকের পরে সিপিএমের রাজ্য সম্পাদক তথা ফ্রন্ট চেয়ারম্যান বিমান বসু বলেন, "তৃণমূলের সাংসদ কুণাল ঘোষ যে সমস্ত অভিযোগ করেছেন, তার পরে সিবিআই তদন্ত ছাড়া আর কোনও রাস্তা খোলা নেই। আমরা আগেই সিবিআই তদন্তের দাবি করেছি।

এখন ওঁদের দলের লোকজন যা বলছেন, তার পরে সিবিআই তদন্ত আরও প্রয়োজন হয়ে পড়েছে।" প্রয়োজনে আদালতের নজরদারিতে সিবিআই তদন্তের কথাও এ দিন আবার বলেছেন বিমানবাবু।

কুণালের অভিযোগের সূত্র ধরেই বিমানবাবু এ দিন বলেন, "ওঁকে বলির পাঁঠা করার চেষ্টা হচ্ছে বলে মনে হয়। সারদার ঘটনায় ওঁর নিশ্চয় ভূমিকা ছিল। কিন্তু যাঁদের হয়ে উনি এই কাজ করেছেন, তাঁরাও যেন ছাড় না পায়।"

এ দিনই চুঁচুড়ায় পুর-কর্তাদের সঙ্গে একটি বৈঠকে কুণালের শুক্রবারের বক্তব্য প্রসঙ্গে মুখ খোলেন রাজ্যের পুরমন্ত্রী ফিরহাদ হাকিম। তিনি বলেন, "আমরা রাজনীতি করি। আমরা যারা রাজনীতি করি, তাদের নীতি-আদর্শ থাকে। ওঁর তা নেই, তা ওঁর কথা থেকেই পরিষ্কার।" কুণাল ঘোষের সঙ্গে শাসক দলের সম্পর্ক নিয়ে প্রশ্ন করা হলে ফিরহাদ বলেন, "ওঁকে সাসপেন্ড করা হয়েছে। কিন্তু উনি এখনও শাসক দলের সাংসদ হিসেবেই রয়েছেন। আগে ইস্তফা দিন। তার পরে যা বলার বলুন।" ফেসবুকে কুণাল ঘোষের নামে যে 'অফিসিয়াল পেজ' রয়েছে, তাঁর গ্রেফতার হওয়ার কিছু ক্ষণ পরে সেখানে তাঁর নামেই একটি মন্তব্য 'পোস্ট' করা হয়। সেই পোস্টে কুণাল নিজেকে আরও একবার নির্দোষ বলে দাবি করে লিখেছেন, 'আমার কাজ, আমার পেশাকে ব্যবহার করে পিছন থেকে ছুরি মারা হল'। একই সঙ্গে ওই পোস্টে তৃণমূলের শীর্ষ নেতৃত্ব ও মন্ত্রী-সহ বারো জনের নাম তুলে তাঁর প্রশ্ন, 'যাঁরা সেনকে (সুদীপ্ত সেন) চিনতেন, সারদার প্রত্যক্ষ ও পরোক্ষ সাহায্য পেয়েছেন, কিংবা অন্য ভাবে

জানেন, তাঁদের তদন্তে সাহায্য চাওয়া হোক'। ওই পোস্টে তিনি সারদা-কাণ্ডে আরও একবার সিবিআই তদন্তের দাবি জানিয়েছেন। কিন্তু গ্রেফতার হওয়ার পরে কুণালবাবুর নামে ওই পেজ-এ কে মন্তব্য পোস্ট করল? পুলিশের বক্তব্য, গ্রেফতার হওয়ার পরে কুণালবাবুর নিজের হাতে কোনও ভাবেই এ কাজ করা সম্ভব নয়। তাঁরই নির্দেশে কেউ পোস্টটি করেছে বলে বলে অনুমান পুলিশের।

http://www.anandabazar.com/24raj1.html


No comments:

Related Posts Plugin for WordPress, Blogger...

PalahBiswas On Unique Identity No1.mpg

Tweeter

Blog Archive

Welcome Friends

Election 2008

MoneyControl Watch List

Google Finance Market Summary

Einstein Quote of the Day

Phone Arena

Computor

News Reel

Cricket

CNN

Google News

Al Jazeera

BBC

France 24

Market News

NASA

National Geographic

Wild Life

NBC

Sky TV